यह पांच तत्त्व भी केवल आकाश से वायु, वायु से अग्नि, अग्नि से जल और जल से पृथ्वी।
2.
नमः शिवाय में पांच तत्त्व हैं-न-मः-शि-वा-य: पृथ्वी, अग्नि, वायु, जल और आकाश।
3.
“ क्षिति जल पावक गगन समीरा ” ये पांच तत्त्व है जिनसे मिलकर हमारा शरीर बना है, इससे ही हमारा जीवन चलता है और वापस इन्हीं में उसको विलीन हो जाना है।
4.
“ मोक्ष ” किसका? शारीर का? या आत्मा की? यदि आप शारीर की बात करते हैं तो मृत्यु के बाद पांच तत्त्व अलग अलग होकर पञ्च तत्त्व में विलीन हो जाता है।
5.
आज जब उनका पांच भौतिक शरीर पांच तत्त्व में विलीन हो गया है तो हमारा यह परम कर्त्तव्य बनता है कि अपने पितरो के उन पांचो तत्वों के संतुलित समन्वय के लिए निर्दिष्ट एवं अपेक्षित भूमिका निभाएं.
6.
“सब कुछ नया सुखदायी, सब कुछ पुराना दुखदायी होता है |” बढती हुई अव्यवस्था, संघर्ष, विभाजन, विविधता, भूक, अभाव, बीमारियाँ, विपत्तियाँ आदो आत्मिक और भौतिक चक्रीय प्रदूषण की निशानियाँ हैं | आत्माओं में पांच विकार मौजूद हैं और पांच तत्त्व विनाशकारी बनते हैं |
7.
और वो पांच तत्त्व हैं-अग्नि, वायु, पृथ्वी, आकाश और जल! इसका अर्थ ये है की प्रत्येक वस्तु अपना रूप तो बदल सकती है लेकिन समाप्त नहीं हो सकती क्योंकि अंत में हर वस्तु का स्वरुप इन पांच तत्वों के रूप में विद्यमान रहने वाला है.
8.
प्रकृति के प्रकोप से बचने का एक ही रास्ता नजर आता है की मानव को प्रकृति के पांच तत्त्व जल, अग्नि, प्रथ्वी, हवा और आकाश के बीच सामंजस्य बनाना बहुत ही जरूरी है, यदि मानव इनमे से किसी के साथ भी खिलवाड़ और दखलंदाजी करता है तो कही सूखा और अकाल तो कही भारी वर्षा और बाढ़, कही तूफान तो कही भूकंप, कही बेमौसम बारिश तो कही भारी गर्मी जैसे भयंकर परिणाम मानव को भुगतने होंगे ।
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प्रकृति के प्रकोप से बचने का एक ही रास्ता नजर आता है की मानव को प्रकृति के पांच तत्त्व जल, अग्नि, प्रथ्वी, हवा और आकाश के बीच सामंजस्य बनाना बहुत ही जरूरी है, यदि मानव इनमे से किसी के साथ भी खिलवाड़ और दखलंदाजी करता है तो कही सूखा और अकाल तो कही भारी वर्षा और बाढ़, कही तूफान तो कही भूकंप, कही बेमौसम बारिश तो कही भारी गर्मी जैसे भयंकर परिणाम मानव को भुगतने होंगे ।
10.
पांच तत्त्व की काया को जिंदगी का यह कर्म-क्षेत्र किसलिए मिला है, मैं समझती हूं इसका रहस्य ओशो ने पाया है, और उस क्षण का दर्शन किया है, जब लहू-मांस की यह काया एक उस मंदिर और एक उस मस्जिद-सी हो जाती है, जहां पूजा के धूप की सुगंध अंतर से उठने लगती है और कोई आयत भीतर से सुनाई देने लगती है-दागिस्तान हमारी दुनिया का एक छोटा-सा पहाड़ी इलाका है, लेकिन लगता है, वहां के लोगों ने दुनिया के दुखांत का बहुत बड़ा मर्म जाना है।
What is the meaning of पांच तत्त्व in English and how to say pamca tatva in English? पांच तत्त्व English meaning, translation, pronunciation, synonyms and example sentences are provided by Hindlish.com.